(गत ब्लॉगसे आगेका)
प्रश्न‒किसीका
गर्भ अपने-आप गिर जाय तो ?
उत्तर‒यह एक रोग है और
इसका इलाज करना चाहिये । एक स्त्रीके पाँच-छः गर्भ गिर गये । एक सन्तने उसके परिवारवालोंको
बताया कि उसके गर्भाशयमें गरमी बहुत है, जिससे गर्भ झुलस जाता है और गिर जाता है;
अतः इसके लिये एक उपाय करो । जब उसके गर्भ रह जाय,
तब वह इस विधिसे गायका दूध पिये । एक बर्तनपर दूध छाननेवाला
कपड़ा डाल दें और कपड़ेपर महीन पिसी मिश्री रख दें । फिर उसपर गायका दूध दुहें,
जिससे वह मिश्री दूधमें मिलकर बर्तनमें चली जायगी । यह धारोष्ण
दूध वह स्त्री तत्काल गायके सामने ही बैठकर प्रतिदिन प्रातः खाली पेट एक महीनेतक पिये
। सन्तके कहे अनुसार उस स्त्रीने दूध पिया तो उसका गर्भ गिरा नहीं और उसकी संतान हो
गयी । वह सन्तान अब भी जीवित है ।
इस रोगको मिटानेकी कई ओषधियाँ हैं,
जिनको आयुर्वेदमें निष्णात अनुभवी वैद्यसे लेना चाहिये ।
प्रश्न‒किसी
रोगके कारण गर्भपात कराना अनिवार्य हो जाय तो क्या करें ?
उत्तर‒गर्भपातका
पाप तो लगेगा ही । स्त्रीके बचावके लिये लोग गर्भपात करा देते हैं, पर
ऐसा नहीं करना चाहिये, प्रत्युत इलाज करना चाहिये । जो होनेवाला है वह तो होगा ही । स्त्री मरनेवाली होगी तो गर्भ
गिरानेपर भी वह मर जायगी । यदि उसकी आयु शेष होगी तो गर्भ न गिरानेपर भी वह नहीं मरेगी
। मृत्यु तो समय आनेपर ही होती है, निमित्त चाहे कुछ भी बन जाय । अतः गर्भपात कभी नहीं कराना चाहिये
।
प्रश्न‒कुँवारी
अवस्थामें गर्भ रह जाय तो उसको गिराना चाहिये या नहीं ?
उत्तर‒जिसके संगसे गर्भ
रह जाय, उसके साथ विवाह करा देना चाहिये । अगर विवाह न करा सकें तो भी
उस गर्भको गिराना नहीं चाहिये । उसका पालन करना चाहिये और थोड़ा बड़ा होनेपर उस बच्चेको
अनाथालयमें भरती करा देना चाहिये अथवा कोई गोद लेना चाहे तो उसको दे देना चाहिये ।
यदि कोई कन्याके साथ जबर्दस्ती (बलात्कार) करे तो जबर्दस्ती
करनेवालेको बड़ा भारी पाप लगेगा । यदि कन्याने उसमें (संगका) सुख लिया है तो उतने अंशमें
उसको भी पाप लगेगा; क्योंकि सभी पाप भोगेच्छासे ही होते हैं । सर्वथा
भोगेच्छा न होनेपर पाप नहीं लगता । यदि कुँवारी कन्याके गर्भ रह जाय तो उसके माता-पिताको
भी असावधानीके कारण उसका पाप लगता है । अतः माता-पिताको चाहिये कि वे शुरूसे ही बड़ी
सावधानीके साथ अपनी कन्याकी सुरक्षा रखें, उसको
स्वतन्त्रता न दें ।
(शेष आगेके ब्लॉगमें)
‒‘गृहस्थमें कैसे रहें ?’ पुस्तकसे
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